वेस्या की जिंदगी की प्रेम कहानी / Love story of vesya life hindi
यह बात उन दिनों की है जब में एक कुँआरा 18 साल का लड़का था। उन दिनों में बीए प्रथम वर्ष की तैयारी कर रहा था। अचानक पठाई से मोह भंग हो गया। मैं दिल्ली चला गया सोचा वहां नॉकरी करेगे ओर आगे की पढ़ाई जारी रखेंगे। उन्ही दिनों मेरी दोस्ती एक अपने ख़ास आदमी से हो गयो । उसका नाम प्रेम था । उन्होंने ही मुझे एक वेस्या कि कहानी सुनायी की किस तरह उसका दोस्त एक वेस्या के प्यार में दीवाना हो गया।
जब मैने उनसे विस्तार से जानने की कोशिश की तो उन्होंने बतलाया कि उनका एक दोस्त था। उसका नाम मोहन था। वह की वेस्यालय में गया होगा तो वहां जिस वेस्या के पास गया उसको अपना दिल दे बैठा। मेने पूछा भाई ये बताओ कि एक वेस्या को किस तरह दिल दे बैठा तो उन्होंने बताया कि वेस्या सुंदर थी। वेस्या ने अपने हुस्न के जाल से उसको पहले खुश किया और फिर अपनी कहानी ओर इस धंधे में किस तरह किसी प्रेमी के जाल में फंस कर आयी। सारी कहानी बतायी।
मोहन एक साधारण दिल का प्रेमी युवक था। उसने उस वेस्या से पूछा कि क्या तुम यहाँ से निकलना चाहते हो तो उसने कहा हा लेकिंन बाहर जाकर भी लोग मुझको गिद्ध की तरह देखेगे। तब मोहन ने उससे कहा कि मैं तुमको अपनाना चाहता हु क्या तुम मेरा साथ दोगी वह वेस्या तुरन्त तैयार हो गयी। इसलिये कहते है कि जब दिल किसी पर आ जाय तो काली लड़की भी हुर की परी लगती है ओर वेस्या भी पाक शुद्ध लगती है। यह दिल का सौदा है हर कोई इस सौदे में पास नही होता है। प्यार अंधा होता है। बहुत से लोग अपने प्यार में सफल रहते है क्योकि किस्मत से उनको अच्छी जीवन साथी मिल जाती है। कुछ लोग प्यार में धोखा खाकर खासकर लडकिया जब बदनाम हो जाती है तो उनका जीवन उनको खुद नरक सा लगने लगता है। कुछ को उनके प्रेमी कोठो की शोभा बना देते है। प्यार में धोखा भी मिलता है प्यार में जिंदगी का सकूँन भी है। आप जब भी प्यार करो उसमे जल्दवाजी बिल्कुल मत दिखाओ। जल्दवाजी का काम लोभ का काम हमेशा धोखा के सिवा कुछ नही देता है। प्यार असल मे लेना है या प्यार किसी का पाना है समय उसको अवस्य दीजिये। किसी धोखे में न पड़े