अमीर की पहचान कब / Amir ki pahchan kab hindi
अमीर की पहचान तब होती है जब वह खुले दिल से दान धर्म करता है। गरीबो की मदद को हमेशा आगे रहता है। दिन दुःखियों की मदद को सदा त्तपर ब्यक्ति ही अमीर है अमीर की यही पहचान भी है। क्या कोई पैसा से अमीर बनता है तो दूसरों की मदद की जरूरत उसे क्यो होती है।
बहुत बार पैसा भी काम नही आता है। मदद मतलब इंसानी मदद जिसकी हर ब्यक्ति को मुस्किलो में जरूरत होती है। मदद कोन दे सकता है मदद देने वाला ब्यक्ति उदार दिल का होना चाहिये। मदद के बाद कभी न कहे कि हमने मदद की है। यदि तुम कहते हो कि हमने मदद की है तो वो मदद बेकार हो जाती है। एक ईमानदार ब्यक्ति मदद के बदले कुछ नही लेता है वह मदद को परमात्मा का आदेश समझ कर करता है जब परमात्मा का आदेश है तो फिर कुछ भी लेना पाप हो जाता है लेना कि तो बात ही छोड़ो कहना भी ठीक नही है। मदद कोई भी करता है तो वह परमात्मा के लिये किया गया कार्य होता है जिसके परिणाम इस जन्म क्या अगले जन्म में भी मिलते है।यह परमेश्वर का कार्य है। इसे करते रहो यही अमीरी की पहचान है।